दोस्तों आपका हमारी वेबसाईट में स्वागत है| आज हमने अपने इस में लेख में Interesting facts about Himachal Pradesh in Hindi के बारे में जानकारी साझा की है| हिमाचल प्रदेश की आगामी आने वाली सभी प्रतियोगी परीक्षाओं की दृष्टि से काफी महत्वपूर्ण है| इनका बार-बार अभ्यास करने से आपको वास्तिवक परीक्षा का अनुभव होगा|
Interesting Facts about Himachal Pradesh in Hindi
– ‘हिमाचल’ नाम आचार्य दिवाकर दत शर्मा ने सुझाया था, जो संस्कृत के विद्वान् थे|
– पटियाला के महाराजा ‘कोहिस्तान’ राज्य बनाना चाहते थे, जिसमें पटियाला के क्षेत्रों: चंबा शिमला पहाड़ी राज्य सिरमौर, क्योंथल और नालागढ़ को विलय किया जाय| हालांकि यह प्रस्ताव अस्वीकार कर दिया गया|
– डॉ. परमार और उनके सहयोगी केंद्र सरकार द्वारा बिलासपुर रियासत की दिए गए वर्ग ‘ग’ के खिलाफ थे|
– चीन की सीमा पर हिमाचल प्रदेश के किन्नौर जिले का अंतिम भारतीय गाँव सुमदो है|

-हिमाचल प्रदेश के लाहौल-स्पीती जिले में अवस्थित ‘नीलकंठ महादेव झील’ में स्थानीय लोगों द्वारा महिलाओं की प्रविष्टि प्रतिबंधित है|
– विक्रम सवंत के अनुसार श्रीखंड महादेव की यात्रा 20 आषाढ को शुरू होती है|
– उना जिले के अंजोली नामक स्थान पर सरकारी पोल्ट्री फ़ार्म अवस्थित है|
– लोक-विद्या के अनुसार हिमाचल प्रदेश के कुल्लू क्षेत्र को ‘रहने योग्य दुनिया का अंत’ कहा जाता है|
– सिरमौर जिलें में ‘जलाल नदी’ के साथ ‘बाग़थन’ मानव निवास स्थान है|
– प्रत्यय ‘सिहं’ का इस्तेमाल करने वाला चंबा का पहला राजा प्रकाश सिहं था|
– ‘गंभीर राय’ राजा जगत सिहं (नूरपुर) के राजकवि थे|
– ‘शिंगनी-मींगी’ एक औषधीय पौधा है|
– ‘मिंजर’ का शाब्दिक अर्थ है – मक्का का फूल|
– डोडरा क्वार क्षेत्र शिमला जिले में अवस्थित है|
– पद्मसम्भव का जन्म रिवालसर में हुआ था|
– एसी मान्यता है की तांडी में पांडव रानी द्रौपदी का अंतिम संस्कार किया गया था|
– सिखों के 10 वें गुरु (अंतिम गुरु) ,गुरु गोविंद सिहं जी धर्मशाला की कभी भी यात्रा नहीं की थी|
– लाहोल-स्पीती जिले में ग्रहण (सूर्यग्रहण/चंद्रग्रहण) के समय लोग अपने पर पत्थर फेंकते है|
– हिमाचल प्रदेश के सुचना के अधिकार नियम, 2006 के तहत 30 मिनट या इसके भाग के लिये अभिलेखों,दस्तावेजों के निरिक्षण के लिए शुल्क 20 रूपये है|
– भागल रियासत के राणा दलीप सिहं ने अंग्रेजों को ‘कालका शिमला’ रेलवे लाईन और ‘सोलन-कसौली’ कैंटोमेंट के लिए जरूरी भूमि अंग्रेजों को दी थी|
Hp Gk In Hindi 2021
ईस्वी सन | मुख्य तथ्य |
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3000-2500 ई.पू. | हिमाचल क्षेत्र से आर्यों का प्रथम संपर्क| |
242 ई.पू. | बौद्ध भिक्षुओं द्वारा हिमाचल क्षेत्र में बौद्ध धर्म प्रचार| |
550 ई. | मारूवर्मन द्वारा चंबा रियासत की स्थापना| |
630 ई. | बिलासपुर व् हन्डूर का युद्ध| |
765 ई. | वीरसेन द्वारा सुकेत राज्य की स्थापना| |
900 ई. | बुंदेलखंड के राजकुमार वीरचंद चंदेल एन कहलूर (बिलासपुर) राज्य स्थापित किया| |
920 ई. | साहिल वर्मन द्वारा शहर की स्थापना| |
1000 ई. | तोमर राजपूत जेठपाल द्वारा नूरपुर राज्य की स्थापना |
1009 ई. | महमूद गजनवी द्वारा कांगड़ा किले एवं ज्वालामुखी पर आक्रमण| |
1100 ई. | अजय चंद द्वारा नालागढ़ रियासत की स्थापना |
1154 ई. | अभोज देव द्वारा कुनिहार रियासत की स्थापना |
1170 ई. | गजनी के सुल्तान इब्राहीम ने जालंधर पर अधिकार कर लिया| राजकुमार पूर्णचंद ने जसवान राज्य की स्थापना की थी| |
1192 ई. | मुहमद गौरी व् पृथ्वीराज के मध्य हुए युद्ध में त्रिगर्त के शासक ने पृथ्वीराज चौहान की सैनिक सहायता दी थी| |
1195 ई. | शुभंश प्रकाश सिरमौर रियासत की स्थापना| |
1210 ई. | सिरमौर के राजा माल्ही प्रकाश ने अपना राज्य बनाया| |
1211 ई. | गिरी सेन द्वारा क्योंथल राज्य की स्थापना| |
1300 ई. | बाणसेन द्वारा सेन मंडी रियासत की स्थापना| |
1365 ई. | फिरोजशाह तुगलक कांगड़ा किले व् ज्वालामुखी पर हमला| |
1399 ई. | तैमुरलंग की पहाड़ी रियासतों को छोड़ कर भागना| |
1450 ई. | हरिचंद द्वारा गुलेर राज्य की स्थापना |
1450 ई. | शिवराम चंद द्वारा सिब्बा राज्य की स्थापना| |
1526 ई. | अजबर सेन द्वारा मंडी शहर की स्थापना| |
1527 ई. | राजा अजबर सेन ने मंडी राज्य की स्थापना कर मंडी को अपना राजधानी बना लिया| |
1540 ई. | शेरशाह शुरी ने अपने सेनापति खवासखां को नगरकोट तथा अन्य पहाड़ी राज्यों पर अधिकार करने हेतु भेजा| |
1550 ई. | दतार चंद्र द्वारा दतारपुर राज्य की स्थापना| |
1550 ई. | सिबरन चंद द्वारा डाडा सिब्बा रियासत की स्थापना| |
1620 ई. | मुगल बादशाह जहांगीर द्वारा कांगड़ा पर अधिकार| |
1621 ई. | कर्मप्रकाश द्वारा नाहन शहर की स्थापना| |
1622 ई. | सम्राट जहांगीर ने अपनी पत्नी नूरजहाँ के साथ नूरपुर की यात्रा की| |
1654 ई. | दीपचंद द्वारा बिलासपुर शहर की स्थापना| |
1667 ई. | जयचंद द्वारा ठियोग रियासत की स्थापना| |
1686 ई. | गुरु गोबिंद सिह और बिलासपुर के राजा भीमचंद के मघ्य भंगाणी की लड़ाई हुई जिसमें गुरु गोबिंद सिहं की विजय हुई| |
1700 ई. | हमीरचंद द्वारा हमीरपुर शहर की स्थापना| |
1712 ई. | गरुण सेन द्वारा सुंदरनगर की स्थापना |
1748 ई. | अभयचंद द्वारा सुजानपुर टीहरा शहर की स्थापना| |
1783 ई. | संसारचंद द्वारा मुगल सरदार सफी खां की मृत्यु के पश्चात कांगड़ा के किले पर अधिकार| |
1786 ई. | नरेशी शाहपूर का युद्ध |
1805 ई. | गोरखों का अमर सिहं थापा के नेतृत्व में कांगड़ा किले का घेरा| |
1809 ई. | संसारचंद व् महाराजा रणजीत सिहं के बीच ज्वालामुखी संधि| रणजीत सिहं का कांगड़ा पर अधिकार और देशा सिहं मजीठिया की नाजिम नियुक्त किया| |
1814-15 ई. | गोरखा-अंग्रेज युद्ध में अमर सिहं थापा की हार| शिमला हिल स्टेट्स के राज्यों पर अंग्रेजों का अधिपत्य हो गया| |
1822 ई. | मेजर कैनेडी द्वारा शिमला शहर की स्थापना| |
1823 ई. | राजा संसारचंद की मृत्यु| |
1846 ई. | गोरखा-सिख संधि| |
1854 ई. | लॉर्ड डलहौजी द्वारा डलहौजी शहर की स्थापना| |
1857 ई. | नसीरी बटालियन के सूबेदार भीम सिहं के नेतृत्व में जतोग विद्रोह| |
1864 ई. | शिमला स्थायी रूप से अंग्रेजों की ग्रीष्मकालीन राजधानी बनी| |
1895 ई. | चंबा रियासत के अत्याचारों के विरुद्ध ‘भटियात जनता विद्रोह’ |
1905 ई. | बाघल में किसान विद्रोह |
1906 ई. | डोडरा क्वार में विद्रोह |
1909 ई. | मंडी के राजा व् वजीर पाधा जीवानंद के विरुद्ध ‘मंडी जनता विर्द्रोह’ |
1913-14 ई. | ‘मैकमोहन’ रेखा खीचने का निर्णय शिमला के लिया गया जिसमें अंग्रेज, चीन व् तिब्बत के प्रतिनिधि शामिल थे| |
1921 ई. | महात्मा गांधी पहली बार शिमला आए |
1930 ई. | डाडरा आन्दोलन (बिलासपुर में राजा के कर्मचारियों की धांधलियों के विरुद्ध) |
1938 ई. | शिमला हिल स्टेट हिमालयन रियासती प्रजामडंल की स्थापना |
16 जुलाई, 1939 ई, | हिमाचल का पहला ‘धामी गोली कांड’ |
1942 ई. | सिरमौर रियासत में पझौता आंदोलन |
8-10 मार्च, 1946 | मंडी कॉन्फ्रेंस |
26 जनवरी, 1948 | हिमाचल प्रदेश में अस्थायी सरकार की स्थापना |
26-28 जनवरी, 1948 | सोलन सम्मेलन |
18 फरवरी, 1948 | सुकेत सत्याग्रह |
15 अप्रैल, 1948 | हिमाचल प्रदेश का जन्म |
1951 ई. | हिमाचल प्रदेश की ‘ग’ श्रेणी का राज्य बनाया गया| बिलासपुर जिला को हिमाचल प्रदेश का पांचवा जिला बनाया गया| |
1 नवंबर, 1956 | हिमाचल प्रदेश को केंद्रशासित प्रदेश बनाया गया| |
15 अगस्त, 1957 | क्षेत्रीय परिषद की स्थापना, जिसके अनुसार ठाकुर कर्म सिहं अध्यक्ष चुने गये| |
1 मई, 1960 | किन्नौर हिमाचल प्रदेश का 6 वां जिला बना| |
1 जुलाई, 1966 | पंजाब के पुनर्गठन के बाद कांगड़ा, कुल्लू, शिमला, लाहौल-स्पीति, नालागढ़ के क्षेत्रों की हिमाचल में मिलाया गया| |
1970 ई. | हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय स्थापित |
25 जनवरी, 1971 | विशाल हिमाचल का निर्माण तथा भारत का 18 वां पूर्ण राज्य बना| |
1971 ई. | हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायलय व् लोक सेवा आयोग का गठन |
1 सितम्बर, 1972 | जिलों का पुनर्गठन हमीरपुर, सोलन व् उना जिलों का निर्माण |
1978 ई. | कृषि विश्वविद्यालय की स्थापना |
1979 ई. | प्रशासनिक सुविधा को ध्यान में रखते हुए हिमाचल प्रदेश को दो खंडों में कांगड़ा तथा शिमला में बांटा गया| |
2 मई, 1981 | हिमाचल प्रदेश के पथम मुख्यमंत्री यशवंत सिहं परमार का निधन |
1983 ई. | हिमाचल प्रदेश में लोकायुक्त का पद सृजित किया गया| |
1983 ई. | “हिमाचल प्रदेश प्रशासनिक अधिकरण” सविंधान की धारा 323 (अ) के अंर्तगत संसद ने वर्ष 1985 में प्रशासनिक अधिकरण, 1985 पारित किया| |
1985 | डॉ. यशवंत सिहं परमार उद्यान एवं वानिकी विश्वविद्यालय, नौणी (सोलन) की स्थापना| |
1998 | “हिमाचल प्रदेश अधीनस्थ सेवाएं चयन बोर्ड, हमीरपुर” की स्थापना| |
2001 | “सुचना प्रौद्योगिकी निति” औपचारिक रूप से शुरू की गई| |
2011 | ‘एंटी हेल गन प्रणाली’ स्थापित करने वाला हिमाचल प्रदेश का प्रथम राज्य बना| |